Mahakhumbh 2025 : महाकुंभ बना नाविक समुदाय के लिए वरदान
प्रयागराज में 45 दिनों तक चला महाकुंभ भले ही समाप्त हो गया हो, लेकिन इस दौरान एक नाविक परिवार की कमाई सुर्खियों में बनी हुई है। नैनी के अरैल क्षेत्र के इस परिवार ने महाकुंभ मेले के दौरान सिर्फ नाव चलाकर करीब 30 करोड़ रुपये की कमाई की, जिसकी चर्चा खुद मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने विधानसभा में की।
Mahakhumbh 2025 : जाने क्या हैं पुरी खबर
महाकुंभ 2025 में जहां श्रद्धालुओं ने आध्यात्मिक यात्रा का अनुभव किया, वहीं यह आयोजन कई लोगों के लिए रोजगार और व्यापार का बड़ा अवसर भी साबित हुआ। इसी कड़ी में पिंटू महरा और उनके परिवार की कहानी खास है, जिन्होंने अपनी नावों के जरिए हजारों श्रद्धालुओं को संगम स्नान कराया। इस ऐतिहासिक कमाई को लेकर मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने विधानसभा में इस नाविक परिवार की तारीफ की। उन्होंने कहा कि महाकुंभ में सरकार द्वारा किए गए बेहतरीन इंतजामों की वजह से श्रद्धालुओं की संख्या बढ़ी और इसी का लाभ नाविक समुदाय को मिला।
पिंटू महरा और उनकी मां शुक्लावती इस सफलता से बेहद खुश हैं और अपने घर में मिठाइयां बांट रही हैं। शुक्लावती का कहना है कि “पहली बार नाविक समुदाय को इतना सम्मान और आर्थिक लाभ मिला है। इससे पहले किसी सरकार ने हमारे बारे में नहीं सोचा, लेकिन योगी-मोदी सरकार ने हमें पहचान और रोजगार दोनों दिए।” महाकुंभ 2025 में 66 करोड़ से अधिक श्रद्धालु संगम में स्नान के लिए पहुंचे थे, जिससे इस नाविक परिवार को लगातार काम मिला। उनका कहना है कि इससे पहले इतनी कमाई और इतनी मान्यता उन्हें कभी नहीं मिली थी। इस मेले ने सिर्फ श्रद्धालुओं के लिए ही नहीं, बल्कि नाविक समुदाय के लिए भी एक नया इतिहास रच दिया।
दरअसल उनके परिवार की 100 से अधिक नावों ने पूरे 45 दिनों तक बिना रुके सेवा दी, जिससे हर नाव से करीब 7 से 10 लाख रुपये की कमाई हुई। जब सभी नावों की कमाई को जोड़ा गया, तो कुल रकम 30 करोड़ रुपये के करीब पहुंच गई। महरा परिवार में 500 से ज्यादा सदस्य हैं, जिनका मुख्य पेशा नाव चलाना है। इनके पास खुद 100 से ज्यादा नावें हैं, लेकिन भारी भीड़ को देखते हुए उन्होंने आसपास के अन्य नाविकों से भी नावें किराए पर लीं।
