Ghaziabad News: गाजियाबाद जिले में पुलिसिंग को जमीनी स्तर पर और अधिक प्रभावी बनाने के उद्देश्य से बीट पुलिस व्यवस्था लागू कर दी गई है। इस नई व्यवस्था के तहत बीट पुलिस अधिकारी (बीपीओ) की भूमिका को केंद्रीय स्थान दिया गया है। अब हर बीपीओ को अपने क्षेत्र में अपराध पर नियंत्रण रखने और संदिग्ध गतिविधियों पर नजर रखने की सीधी जिम्मेदारी सौंपी गई है।
पुलिस कमिश्नर जे. रविन्द्र गौड़ के नेतृत्व में कमिश्नरेट क्षेत्र में कुल 2131 बीट बनाई गई हैं। ग्रामीण क्षेत्रों में प्रत्येक तीन हजार की आबादी पर एक बीपीओ नियुक्त किया गया है, जबकि शहरी क्षेत्रों में पांच हजार की आबादी पर बीपीओ की तैनाती की गई है। बीपीओ के ऊपर निगरानी और मार्गदर्शन के लिए बीट एसआई की भी नियुक्ति की गई है।
पुलिस कमिश्नर ने तीनों जोनों में बीपीओ और बीट एसआई के साथ अलग-अलग बैठक कर सीधे संवाद किया। उन्होंने स्पष्ट निर्देश दिए कि बीपीओ को अपने क्षेत्र में रहकर अपराधियों की जानकारी एकत्र करनी होगी और स्थानीय संभ्रांत नागरिकों से नियमित संवाद स्थापित करना होगा। इसके साथ ही पुलिस “नो योर क्रिमिनल (KYC)” अभियान के माध्यम से अपराधियों का डेटा भी एकत्र कर रही है, जिससे अपराध रोकने में सहायता मिलेगी।
पुलिस कमिश्नर ने सभी डीसीपी को निर्देशित किया है कि वे अपने क्षेत्र में बेहतरीन कार्य करने वाले बीपीओ को हर महीने सम्मानित करें। इसके अलावा, ऐसे बीपीओ की फोटो संबंधित थाने में प्रदर्शित की जाएगी ताकि अन्य पुलिसकर्मी भी प्रेरित हो सकें।
इस नई व्यवस्था से गाजियाबाद में पुलिस और जनता के बीच संवाद बेहतर होने की उम्मीद है, जिससे अपराध पर अंकुश लगाने में मदद मिलेगी और जनता में सुरक्षा की भावना और मजबूत होगी।
