Ghaziabad News : गर्मियों की शुरुआत के साथ देशभर में आग लगने की घटनाओं में वृद्धि देखी जा रही है। गाजियाबाद जैसे घनी आबादी और ऊँची इमारतों वाले शहर में यह स्थिति और अधिक चुनौतीपूर्ण हो जाती है। मॉल्स, हाई-राइज सोसाइटीज़ और औद्योगिक इकाइयों की बढ़ती संख्या के बीच, अग्नि सुरक्षा के मानकों की अनदेखी एक गंभीर खतरे के रूप में सामने आई है।
इसी को देखते हुए गाजियाबाद अग्निशमन विभाग ने गर्मी से पहले एक विशेष फायर सेफ्टी ऑडिट अभियान चलाया। इस अभियान के अंतर्गत शहर की प्रमुख इमारतों शैक्षिक संस्थानों, औद्योगिक इकाइयों, व्यावसायिक परिसरों और आवासीय सोसाइटियों में अग्नि सुरक्षा इंतज़ामों की गहन जांच की गई। मुख्य अग्निशमन अधिकारी राहुल पाल ने बताया कि ऑडिट का उद्देश्य सुरक्षा मानकों का मूल्यांकन कर आवश्यक सुधार सुनिश्चित करना था। जांच के दौरान 40 इमारतों को अग्निशमन मानकों का उल्लंघन करते हुए पाया गया। इनमें प्रमुख रूप से सामने आईं समस्याएं जैसे- अग्निशमन यंत्रों की कमी या अनुपयोगी स्थिति, आपातकालीन निकास मार्गों की अनुपलब्धता और सुरक्षा कर्मियों की अपर्याप्त ट्रेनिंग विशेषकर हाई-राइज सोसाइटीज़ में इन खामियों की मौजूदगी संभावित बड़ी दुर्घटनाओं का संकेत देती है।
Ghaziabad News : कार्रवाई, कोर्ट में दायर हुआ मामला
जिन इमारतों में बार-बार चेतावनी के बावजूद सुधार नहीं किया गया, उनके खिलाफ अग्निशमन एवं आपात सेवा अधिनियम 2022 की धारा 29(6) के तहत सीजेएम कोर्ट में वाद दायर किया गया है। 35 इमारतों ने विभाग के नोटिसों के बावजूद कोई कदम नहीं उठाया। राहुल पाल ने स्पष्ट किया, “हमारा उद्देश्य केवल दंड देना नहीं है, बल्कि लोगों को जागरूक कर उनके जीवन और संपत्ति की सुरक्षा सुनिश्चित करना है। लेकिन जब चेतावनी का असर नहीं होता, तो कानून का सहारा लेना आवश्यक हो जाता है।”
