Ghaziabad News: नगर निगम भले ही शहर को स्मार्ट और सुंदर बनाने के लिए नंबर-1 शहर की रेस में दिन-रात एक कर रहा हो, लेकिन ज़मीनी हकीकत कुछ और ही बयां कर रही है। वसुंधरा और इंदिरापुरम जैसे प्रमुख इलाकों में जगह-जगह लगे दिशा सूचक बोर्ड या तो टूट चुके हैं, झुक गए हैं या फिर उन पर अंकित दिशा-निर्देश मिट चुके हैं। इससे खासकर नए वाहन चालकों और राहगीरों को भारी परेशानी का सामना करना पड़ रहा है।
शहर के प्रमुख चौराहों, तिराहों और मुख्य सड़कों पर लगे संकेतक बोर्ड किसी समय लाखों रुपये की लागत से लगाए गए थे, ताकि यातायात सुगम हो और आने-जाने वालों को दिशा की जानकारी आसानी से मिल सके। लेकिन अब ये दिशा सूचक बोर्ड प्रशासनिक अनदेखी की भेंट चढ़ चुके हैं। कुछ बोर्डों पर तो नाम तक पढ़े नहीं जा सकते, जबकि कई जगहों पर पोल तो हैं, लेकिन संकेतक गायब हैं।
स्थानीय निवासियों का कहना है कि नगर निगम की सक्रियता सिर्फ दिखावटी रह गई है। जब स्मार्ट सिटी की रैंकिंग के लिए निरीक्षण की बारी आती है, तो सजावट और सफाई पर विशेष ध्यान दिया जाता है, लेकिन शहर की मूलभूत ज़रूरतों को नजरअंदाज कर दिया जाता है। आपको बता दें की यह समस्या सिर्फ स्थानीय निवासियों तक सीमित नहीं है, बल्कि रोज़ाना शहर में आने-जाने वाले हजारों बाहरी वाहन चालकों को भी रास्ता खोजने में भारी दिक्कतों का सामना करना पड़ता है।
इस विषय पर शहरवासियों ने अब ऑनलाइन प्लेटफार्मों का सहारा लिया है। कई नागरिकों ने जनसुनवाई पोर्टल, ट्विटर और नगर निगम हेल्पलाइन पर शिकायतें दर्ज कराई हैं और सभी क्षतिग्रस्त दिशा सूचक बोर्डों को जल्द से जल्द दुरुस्त कराने की मांग की है।
